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सेना एवं वायुसेना ने गतिशक्ति विवि के साथ समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए
अपने कर्मियों के कौशल और क्षमता निर्माण को उन्नत करने हेतु, भारतीय सेना एवं भारतीय वायुसेना ने नई दिल्ली में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव की उपस्थिति में वडोदरा स्थित गतिशक्ति विश्वविद्यालय के साथ एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए। यह समझौता ज्ञापन दोनों सेनाओं को लॉजिस्टिक्स के संबंध में बेहतर विशेषज्ञता हासिल करने में सक्षम बनाएगा।

इस अवसर पर रक्षा मंत्री ने इस सहयोग को रक्षा क्षेत्र में ‘आत्मनिर्भरता’ के दृष्टिकोण के अनुरूप सशस्त्र बलों की लॉजिस्टिक्स संबंधी रीढ़ को और अधिक मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण साझेदारी के रूप में निरूपित किया। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि लॉजिस्टिक्स अब केवल सशस्त्र बलों का एक सहायक कार्य नहीं है, बल्कि यह सैन्य अभियानों और राष्ट्रीय सुरक्षा के एक महत्वपूर्ण घटक के रूप में उभर रहा है।

श्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता हासिल करने के सरकार के दृष्टिकोण को साकार करने में यह समझौता ज्ञापन उपयोगी साबित होगा। उन्होंने कहा, “यदि हमें लॉजिस्टिक्स के क्षेत्र में विशेषज्ञता की आवश्यकता है, तो हमें इसका प्रशिक्षण गतिशक्ति विश्वविद्यालय जैसे अपने संसाधनों से हासिल करना चाहिए। यदि हमें उपकरण की जरूरत है, तो हमें इसका निर्माण भारत में ही कराना चाहिए। आत्मनिर्भर बनकर ही एक मजबूत भारत की नींव रखी जा सकती है।”
(updated on 9th sept 24)

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