वैज्ञानिक समुदाय अनुसंधान के लिए संसाधनों की चिंता न करे////साइबर सुरक्षा राष्ट्रीय सुरक्षा का एक अहम पहलू-शाह ///देश में 2030 तक विद्युत वाहनों की वार्षिक बिक्री एक करोड़ तक पहुँचने कीसंभावनागडकरी ///भारतीय नौसेना के मालपे और मुलकी का एक साथ जलावतरण किया गया///रेलवे ट्रेक पर बोल्डर, रहम के काबित नहीं मौत के सौदागर///विकसित राष्ट्र बनाने में पंचायती राज संस्थान अहम भूमिका निभाएं- रंजन सिंह///देश के गृहमंत्री रहे शिंदे ने अपने शब्दों में बताये कश्मीर के पुराने हालात/////
Home | Latest Articles | Latest Interviews |  Past Days News  | About Us | Our Group | Contact Us
राष्ट्र विरोधी ताकतें संवैधानिक संस्थानों के प्लेटफार्म को
राष्ट्र विरोधी ताकतें संवैधानिक संस्थानों के प्लेटफार्म को माध्यम बना रही हैं

उपराष्ट्रपति, जगदीप धनखड़ ने आज चिंता जताई कि देश में कुछ लोग साजिश के तहत एक नैरेटिव चला रहे हैं कि हमारे पड़ौसी देश में हाल में जो घटनाक्रम हुआ है, भारत में भी वैसा ही घटित होगा। ऐसे लोगों से सावधान रहने की अपील करते हुए उपराष्ट्रपति ने कहा कि ये लोग अपने जीवन में उच्च पदों पर रहे हैं, देश की संसद के सदस्य रहे हैं, मंत्री रहे हैं, और उनमें से एक को विदेश सेवा का लंबा अनुभव है, ऐसे जिम्मेदार पदों पर रहे लोग ऐसा मिथ्या प्रचार कैसे कर सकते हैं कि पड़ोसी देश जैसा घटनाक्रम भारत में दोहराया जायेगा।

जोधपुर में राजस्थान हाई कोर्ट की प्लेटिनम जुबली के अवसर पर आयोजित एक कार्यक्रम में देश भर से आए न्यायाधीशों व वकीलों को संबोधित करते हुए उपराष्ट्रपति ने चेताया कि ऐसी राष्ट्र विरोधी ताकतें वैधता प्राप्त करने के लिए संवैधानिक संस्थानों को प्लेटफार्म के रूप में प्रयोग कर रही हैं। ये ताकतें देश तोड़ने को तत्पर हैं और राष्ट्र के विकास व लोकतंत्र को पटरी से उतारने के लिए मनगढ़ंत नैरेटिव चलाती हैं। श्री धनखड़ ने आगाह करते हुए कहा कि राष्ट्रहित सर्वाेपरि है और इससे समझौता नहीं किया जा सकता।

इस अवसर पर उपराष्ट्रपति ने भारत में लोकतंत्र की जड़ें मजबूत करने में न्यायपालिका की भूमिका को सराहा और कहा कि स्वतंत्र भारत के इतिहास में केवल एक समय ऐसा आया जब आपातकाल के दौरान न्यायपालिका एक व्यक्ति की तानाशाही के आगे झुक गई। इस विषय पर उन्होंने आगे कहा कि नई पीढ़ी के लोगों को आपातकाल के काले दौर की जानकारी बहुत कम है। उन्होने आह्वान किया कि देश के युवाओं को भारत के इतिहास के उस काले अध्याय के बारे में बताना चाहिए।
(updated on 10th August 24)
-------------------