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लिंग आधारित हिंसा समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर
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भारत में ग्रामीण स्तर पर कानूनी साक्षरता बढ़ाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए, ग्रामीण विकास मंत्रालय के अपर सचिव चरणजीत सिंह ने कल गैर-लाभकारी संगठन साक्षी की अध्यक्ष सुश्री स्मिता भारती के साथ एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए। इस समझौते का उद्देश्य कानूनी सहायता और वकालत के माध्यम से लिंग आधारित हिंसा से निपटना है।
श्री सिंह ने बताया कि यह साझेदारी महिलाओं के लिए उपलब्ध कानूनी उपायों के बारे में जागरूकता और शैक्षिक सामग्री के माध्यम से दीनदयाल अंत्योदय योजना-राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के तहत लिंग कार्यक्रम को सफल बनाएगी। साक्षी, संबद्ध व्यक्तियों को प्रशिक्षण भी प्रदान करेगी, जिससे ब्लॉक स्तर पर स्थापित लिंग संसाधन केंद्र (जीआरसी) की क्षमता और कार्यप्रणाली में और सुधार होगा। इस साझेदारी का उद्देश्य दीनदयाल अंत्योदय योजना - राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन (डीएवाई-एनआरएलएम) के दायरे में आने वाले स्वयं सहायता समूह (एसएचजी) की महिलाओं के बीच कानूनी साक्षरता को बढ़ावा देना है। साक्षी, एक गैर-लाभकारी संगठन है जो कानूनी वकालत, शिक्षा और व्यवहार परिवर्तन के माध्यम से समानता को बढ़ावा देने के लिए समर्पित है। साक्षी, बदलाव के लिए नीतियों में योगदान देता है, प्रशिक्षण आयोजित करता है और मानव संपर्क की एक श्रृंखला के माध्यम से व्यक्तियों और संस्थानों को सुरक्षित और हिंसा मुक्त होने के लिए सशक्त बनाने की दिशा में काम करता है।
(updated on 25th sept 24)
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